
डमरुआ न्युज/श्रीनगर। ‘मैं उनके पैरों पर गिर गई, उनसे मेरे भाई को जाने देने की विनती की, लेकिन उन्होंने उसे गोली मार दी।’ ये लाइनें सुनकर किसी का भी दिल सहम उठे। आतंकियों की दहशत को बयां करते हुए नादिया बशीर ने कहा कि उनके दो नकाबपोश लोगों ने उनके परिवार को तहस नहस कर दिया।
नादिया बशीर ने कहा कि जैसे ही मैंने अपने भाई को पकड़ा, मैंने देखा कि गोली उसकी गर्दन को पार कर गई थी। उस शाम को याद करते हुए नादिया ने कहा कि दो नकाबपोश लोग उनके घर में घुस आए और उनके परिवार को तहस-नहस कर दिया। अगले दिन अनंतनाग जिले के वाटरगाम निवासी उनके 16 वर्षीय भाई साहिल बशीर डार की अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई।
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हादसे के वक्त पिता और बड़े भाई घर के बाहर गए थे: नादिया बशीर
पुलिस के अनुसार, डार की बुधवार शाम को दो अज्ञात आतंकवादियों ने गोली मारकर हत्या कर दी। घटना के वक्त उनके पिता और बड़े भाई शाम को पूजा करने के लिए बाहर गये थे। उसकी मां की प्रार्थना समाप्त होने के बाद, उसने अपने घर के मेन गेट खुला होने की आवाज सुनी और खिड़की से बाहर देखा कि यह कौन है।
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घटना के बारे में बताते हुए भावुक हुई नादिया बशीर
उन्होंने बताया कि मैं अपने भाई से उस आदमी को जाने देने के लिए कहती रही लेकिन उसने कहा कि वे चोर हैं और हमारा घर लूटना चाहते हैं। इसके तुरंत बाद जिस आदमी ने डार को पकड़ रखा था, उसने बशीर को अपनी कोहनी से मारना शुरू कर दिया, जबकि वह अपने भाई को अंदर खींचने की कोशिश कर रही थी। तभी एक आदमी ने पिस्तौल निकाली और डार पर गोली चला दी। ये वाक्यां बताते हुए नादिर बशीर भावुक हो गई।
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मदद के लिए चिल्लाई लेकिन कोई नहीं आया: नादिया बशीर
नादिया बशीर ने कहा कि मैं मदद के लिए चिल्लाई लेकिन कोई नहीं आया। जब दोनों हमलावर भाग रहे थे तो उन्होंने हवा में दो गोलियां चलाईं। कुछ देर बाद पड़ोस के कुछ युवक आए और डार को अस्पताल ले गए, जबकि परेशान बहन अपने पिता को सूचित करने के लिए दौड़ी। वहीं, डार ने अस्पताल में इलाज के दौरान दम तोड़ दिया।