क्रेशर मालिको से मांग रहे रंगदारी:पटवारी साहब का अवैध वशुली बना चर्चा का विषय

डमरुआ।सारंगढ़-बिलाईगढ़ जिले के प्रसिद्ध गौण खनिज ग्राम गुडे़ली और टिमरलगा में पटवारी की मनमानी थमने का नाम नहीं ले रहा है । हद तो तब हो गई जब किसानों से लूटने के बाद पटवारी साहब अब क्रेशरों पर नजर बनाए बैठे हैं । ऐसा नहीं कि वह अपने लिए कुछ मांग रहे हो बल्कि वह तो अपने उच्च अधिकारियों के लिए लक्ष्मी जी की मोटी चढ़ावा मांग रहे हैं और ऐसा हम नहीं कह रहे हैं , लेकिन गुडे़ली के क्रेशर जगत में यह चर्चा का विषय बना हुआ है । ऐसा नहीं है कि सभी क्रेशर उद्योग एक नंबर पर चल रहा है , कोई -कोई क्रेशरों में थोड़ा-बहुत अनियमितताएं मिलती रहती है , लेकिन पटवारी साहब धौंस दिखाकर अवैध वसूली करने में लगे हुए हैं । हालांकि इसकी पुष्टि हम नहीं कर रहे हैं , लेकिन यह चर्चा का विषय बना हुआ है ।
एक ही जगह पर कुंडली मारकर बैठा है पटवारी
वही टिमरलगा पटवारी कुंडी मारकर एक ही जगह पर बैठे हुए हैं ।अधिकारी इनको कहीं तबादला भी नहीं कर सकते क्योंकि ऐसा चर्चा बना हुआ है कि अवैध वसूली करने के लिए ही इस पटवारी को वहाँ रखा गया है । क्रेशर मालिकों को व्हाट्सएप कालिंग के जरिए से अवैध वसूली की मांग की जा रही है और अगर नहीं दिया गया तो हमारे उच्च अधिकारियों को क्रेशर लाकर क्रेशर पर सील की कार्यवाही की जाएगी ऐसी धमकी दी जा रही है । ऐसे पटवारियों पर आखिर कलेक्टर व एसडीएम जैसे अधिकारी कार्यवाही क्यों नहीं कर रहे हैं यह समझ से परे है । एक ही जगह कुंडली मारकर क्यों बैठे हुए हैं आखिर इनका तबादला क्यों नहीं किया जा रहा है ? ऐसा प्रतीत हो रहा है कि सभी मिलीजुली सरकार चल रही है तभी तो एक ही जगह कुंडी मारकर पटवारी बैठे हुए हैं ।
पटवारी पर आखिर किन अधिकारियों का है संरक्षण
वही बताया जा रहा है कि कोई उच्च अधिकारी है जिनके इशारे पर यह पटवारी अपने काम को अंजाम दे रहे हैं या हो सकता है कि वह अधिकारी को इस बात की भनक तक ना हो और यह पटवारी अपनी जेब भरने के लिए या फिर बड़े-बड़े गाड़ियों के शौक रखने पर यह क्रेशर मालिकों को बोलकर यह अवैध काम किया जा रहा है । खैर जो भी हो इसकी हम पुष्टि नहीं कर रहे हैं , लेकिन गुडे़ली-टिमरलगा में जो चर्चा बना हुआ है उसको हम अपने दर्शकों को बता रहे हैं और उच्च अधिकारियों को इन पर कार्यवाही करने को कह रहे हैं ।
इनकी संपत्ति की हो जांच तब होगा दूध का दूध और पानी का पानी
टिमरलगा में रौब जमा कर बैठे पटवारी की अगर संपत्ति की जांच हो तो दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा , लेकिन यह प्रक्रिया बहुत सारे नियम कायदे को पालन कर करना पड़ता है । अब आगे देखने वाली बात होगी कि कलेक्टर इस पर क्या कार्यवाही करते हैं या फिर मामले को रफा-दफा कर देते हैं ।