
सारंगढ।।सारंगढ बिलाईगढ़ जिले के ग्राम गुडेली में वैध पत्थर खदानों की संख्या नाम मात्र है जबकि अवैध खदानों की बाढ़ आ आगई है ।पिछले कुछ वर्षों की आकलन करे तो गुडेली में वैध पत्थर खादान केवल गिने चुने क्रेशर संचालक ही संचालित कर रहे है जबकि अवैध खादान की संख्या बढ़ने के साथ साथ यहां ब्लास्टिंग भी नियमित होती रहती है ।हालही में ही एक खादान का ब्लास्टिंग वाला वीडियो खूब सुर्खियों में रहा जिसका वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है ।हालांकि इसकी पुष्टि अभी तक नही हो पाया है कि ब्लास्टिंग किसने और किसके खादान पर करवाई है ।पर इतना तो साफ है कि गुडेली के पत्थर खदानों में दिन दहाड़े ब्लास्टिंग किया जा रहा है ।यह जानकर कोई हैरानी नही होगी कि ब्लास्टिंग करने का मामला पहला होगा बल्कि गुडेली में काफी समय से पत्थर खदानों में ब्लास्ट कर पत्थर निकालने की परंपरा जगजाहिर है ।बात और है कि आज प्रयन्त कोई बड़ी कार्रवाई नही हुई और लिहाजा यही कारण है कि खनन माफिया खदानों में दिन दहाड़े ब्लास्टिंग कर पत्थर की निकासी कर क्षेत्र के छोटे बड़े क्रेशर में भारी मात्रा में पत्थर की सप्लाई कर खूब कमाई कर रहे है ।
आपको बता दे की बारिस के मौसम में अधिकांश खदानों में पानी भरने के कारण खदानों का संचालन रुक जाता है परंतु माफिया तंत्र खनन का किनारा ढूंढ कर खुदाई चालू कर देते है ।गौरतलब है कि पानी भरे खदानों में पानी सुखाने का काम भी नंबर के महीने में शुरू हो कर करीब 15 दिनों में आधे से ज्यादा शुखा कर अवैध खनन कर्ता काम शुरू कर देते है ।गुडेली में अवैध खनन कर निकाली गई पत्थर यहां संचालित आधे से ज्यादा क्रेशर में खपाया जाता है जिसकी भनक विभागीय अफसरों को होती जरूर है लेकिन दीवाली में मिले उपहार के वजह से खनन माफियाओं के आगे नतमस्तक होना पड़ता है और जिसके चलते अवैध खनन और ब्लास्टिंग पर भी पर्दा डाल दिया जाता है ।
गुडेली मे अवैध खदानों की भरमार
सारंगढ जिले के ग्राम गुडेली में अवैध पत्थर खदानों की भरमार है यहां वैध खदानों से ज्यादा अवैध खदानों का संचालन बृहद पैमाने पर किया जाता है सबसे बड़ी बात यह है कि जिन क्रेशर संचालको के पास खुद का खादान है वे लोग अपने खादान की खुदाई करे बिना ही रॉयल्टी पर्ची जारी करते है इसका मुख्य कारण यह है कि वह क्रेशर संचालक अवैध खदानों के संचालको से पत्थर कम कीमत में लेकर उसकी क्रशिंग कर गिट्टी औने पौने दाम पर मार्केट में बिक्री कर धन कुबेर बन रहे है ।जिसकी जांच पूरी इम्मानदारी से की जाए तो बड़ा खुलासा हो सकता है ।लेकिन जिम्मेदार अफसर इस ओर ध्यान नही देते या कहे देना ही नही चाहते।
गुडेली में रॉयल्टी पर्ची का बड़ा खेल
गुडेली में संचालित अधिकांश क्रेशर उद्योग में रॉयल्टी का बड़ा खेल खेला जाता है खदानों की लीज महज कागजो में बता कर अपने खादान में खुदाई न कर अवैध खदानों से कम दाम में पत्थर क्रय करके अपने संस्थान में भंडारण दिखाकर शासन को लाखों के राजश्व का चपत लगाते है ।ऐसे कई क्रेेशर उद्योग गुडेली मेंं वर्तमान में संचलित हो रहे है जिनका खुद का खादान है पर उसमें खुदाई आज प्रयन्त हुआ ही नही और न ही विभागीय अफसर इसकी जांच कर रहे है ।लिहाजा रॉयलटी चोरी होना तो लाजमी है ।
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